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गीता जयंती 2025 स्पेशल: आजमाएं ये 3 उपाय, घर में आएगी सुख-समृद्धि

1 दिसंबर 2025, सोमवार को यानी आज देशभर में गीता जयंती मनाई जाएगी. यह वही पावन दिन है जब भगवान श्रीकृष्ण ने कुरुक्षेत्र के मैदान में अर्जुन को भगवद् गीता का उपदेश दिया था. मोक्ष, धर्म, कर्म और ज्ञान का यह दिव्य उपदेश आज भी जीवन की हर उलझन का समाधान माना जाता है. शास्त्रों में कहा गया है कि गीता जयंती के दिन किए गए धार्मिक कार्य हजार गुना फल देते हैं, इस मौके पर कुछ सरल उपाय अपनाकर आप अपने जीवन में सुख-समृद्धि, मानसिक शांति और सकारात्मक ऊर्जा बढ़ा सकते हैं.

आजमाएं ये 3 उपाय

गीता का कोई भी एक अध्याय पढ़ें
गीता जयंती पर गीता का पाठ करना अत्यंत शुभ माना गया है. आचार्यों के अनुसार, केवल एक अध्याय का भी मन से पाठ करने पर मन की नकारात्मकता दूर होती है, कार्यों में सफलता बढ़ती है, घर में शांति बनी रहती है, परिवार में आपसी समझ और सौहार्द बढ़ता है.

घर के पूजास्थल में दीपक और धूप जलाएं
गीता जयंती की शाम पूजा स्थल पर तिल या घी का दीपक जलाना अत्यंत शुभ माना जाता है, मान्यता है कि इससे घर में सकारात्मक ऊर्जा प्रवेश करती है, आर्थिक प्रगति के रास्ते खुलते हैं, परिवार के सदस्यों पर से परेशानियों का प्रभाव कम होता है, धूप या अगरबत्ती से वातावरण शुद्ध होता है और मन शांत रहता है.

कृष्ण को तुलसी और पीले पुष्प अर्पित करें
भगवान कृष्ण के लिए तुलसी का विशेष महत्व है, शास्त्रों में कहा गया है कि गीता जयंती के दिन अगर आप कृष्ण को तुलसी की मंजरी, पीले फूल, पीली वस्तुएं, अर्पित करते हैं, तो इससे घर में स्थिर लक्ष्मी का आगमन होता है और धन संबंधी रुकावटें दूर होती हैं.

गीता जयंती का संदेश—कर्म ही पूजा है
गीता हमें सिखाती है कि जीवन में सबसे बड़ा धर्म है—कर्म को पूरी निष्ठा से करना, गीता जयंती सिर्फ पूजा-पाठ का दिन नहीं, बल्कि अपने जीवन को बेहतर दिशा देने का दिन भी है. अगर आप ऊपर बताए गए 3 सरल उपाय अपने दिन में शामिल करते हैं, तो निश्चित रूप से आपके घर में शांति, समृद्धि और सकारात्मक बदलाव महसूस होंगे.

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