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सहारा समय की पड़ताल : मदरसे को लेकर फैला था अफवाह

गाज़ियाबाद: थाना शालीमार गार्डन के विक्रम एन्क्लेव स्थित मदरसे पर लगे गंभीर आरोपों की हकीकत सामने आ गई है। सहारा समय की टीम ने ग्राउंड ज़ीरो पर पहुंचकर विस्तृत तहक़ीक़ात की, जहां जांच के दौरान जो तथ्य सामने आए, उन्होंने पूरे मामले को नई दिशा दे दी।

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स्थानीय लोगों द्वारा बीते दिनों मदरसे पर कई गंभीर आरोप लगाए गए थे. बाहरी व विदेशी बच्चों को रखने से लेकर अवैध गतिविधियों तक। इन आरोपों ने क्षेत्र में तनाव का माहौल पैदा कर दिया था। लेकिन सहारा समय की टीम ने मौके पर पहुंचकर पड़ताल की तो पाया कि लगाए गए आरोप न केवल आधारहीन थे बल्कि झूठे भी निकले।

25 साल पुराना मदरसा — सिर्फ़ स्थानीय बच्चों की तालीम

जांच में यह सामने आया कि यह मदरसा पिछले 25 सालों से संचालित हो रहा है। यहां आसपास की कॉलोनियों के कुछ गरीब और जरूरतमंद बच्चे कुरान, उर्दू और बुनियादी शिक्षा प्राप्त करते हैं। मौके पर मौजूद स्टाफ और पड़ोसियों ने यह भी स्पष्ट किया कि मदरसे में कोई भी विदेशी बच्चा नहीं पाया गया। न ही यहां किसी प्रकार की संदिग्ध गतिविधि देखी गई।

निर्माण पर GDA की कार्रवाई

ग्राउंड रिपोर्टिंग के दौरान टीम ने पाया कि भवन के एक हिस्से में हाल ही में कुछ निर्माण कार्य किया गया था। गाज़ियाबाद विकास प्राधिकरण (GDA) ने यह कहते हुए निर्माण को नियमों के विरुद्ध पाया और उसे सील कर दिया। GDA अधिकारियों का कहना है कि सीलिंग केवल निर्माण संबंधी अनियमितताओं के चलते की गई है, न कि किसी आपराधिक गतिविधि की वजह से।

मौलाना का बयान — “नफ़रत न फैलाएं, भाईचारा मज़बूत करें”

मदरसे के मौलाना ने सहारा समय से बातचीत में कहा कि अफवाहें फैलने से समुदायों के बीच अनावश्यक तनाव पैदा होता है, जिससे माहौल बिगड़ता है। उन्होंने लोगों से अपील की कि किसी भी जानकारी को बिना जांचे वायरल न करें।

स्थानीय लोगों ने भी दी सफाई

रिपोर्टिंग के दौरान कुछ स्थानीय निवासियों ने बताया कि मदरसे से उन्हें कभी किसी प्रकार की दिक्कत नहीं हुई। यहां आने जाने वाले बच्चे आसपास की कॉलोनियों के ही होते हैं। कुछ लोगों ने आरोपों को राजनीतिक साज़िश बताते हुए कहा कि चुनावी माहौल में इस तरह की बातें अक्सर फैल जाती हैं, जिनसे समाज में खाई बढ़ती है।

सहारा समय की तहक़ीक़ात में यह स्पष्ट हो गया कि मदरसे पर लगाए गए आरोप तथ्यहीन और बे-बुनियाद हैं। मदरसा वर्षों से स्थानीय बच्चों को शिक्षा देने का काम कर रहा है और यहां किसी भी विदेशी बच्चे या अवैध गतिविधि का कोई प्रमाण नहीं मिला। फिलहाल GDA द्वारा की गई सीलिंग केवल निर्माण से जुड़े तकनीकी कारणों के चलते की गई है। क्षेत्र में शांति और सौहार्द बनाए रखना अब स्थानीय प्रशासन और समाज की संयुक्त ज़िम्मेदारी है।

रिपोर्ट-फारूख गाजियाबाद