पटना: बिहार में चुनावी सरगर्मी तेज होने के बीच बीजेपी ने बड़ा राजनीतिक कदम उठाया है. पार्टी ने धर्मेंद्र प्रधान को बिहार चुनाव का प्रभारी नियुक्त किया है. उनके साथ सीआर पाटिल और केशव मौर्य को सह प्रभारी बनाया गया है. यह जानकारी पार्टी के मीडिया प्रभारी संजय मयूख ने दी.
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धर्मेंद्र प्रधान का बिहार से गहरा राजनीतिक नाता रहा है. वर्ष 2012 में वे बिहार से राज्यसभा सांसद चुने गए थे. इसके बाद 2014 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी की जीत में उन्होंने अहम रणनीतिक भूमिका निभाई. पार्टी के भीतर और गठबंधन के मामलों में उनकी समझ और अनुभव को ध्यान में रखते हुए उन्हें इस महत्वपूर्ण जिम्मेदारी सौंपी गई है.
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विशेषज्ञों का मानना है कि बीजेपी और JDU के बीच कभी-कभी तनावपूर्ण स्थिति पैदा होती रही है, ऐसे समय में धर्मेंद्र प्रधान ने हमेशा संकटमोचक की भूमिका निभाई है. उनकी बिहार की जमीनी समझ और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से करीबी के कारण उन्हें NDA के चुनाव अभियान में अहम रणनीतिकार के रूप में देखा जा रहा है.
चुनाव आयोग ने बिहार सरकार को 6 अक्टूबर तक सरकारी कर्मचारियों के तबादले की प्रक्रिया पूरी करने का निर्देश दिया है. इसके बाद अनुमान है कि विधानसभा चुनाव की तारीखों की घोषणा 6 अक्टूबर के बाद कभी भी हो सकती है. चुनावी माहौल के बीच, सुरक्षा और राजनीतिक रणनीति पर भी सियासी उठापटक जारी है.
पूर्णिया सांसद पप्पू यादव की सुरक्षा घटाए जाने का मामला भी चर्चा में है. इस साल 10 अगस्त को उनकी सुरक्षा बढ़ाई गई थी, लेकिन अब घटा दी गई है. ऐसे में धर्मेंद्र प्रधान के नेतृत्व में बीजेपी की चुनावी रणनीति बिहार में सियासी घमासान को और रोचक बनाएगी.
रिपोर्ट: शैलेन्द्र पांडेय, पटना.