कपूर जलाने की परंपरा हमारे घरों में बरसों से चली आ रही है. पूजा-पाठ हो या हवन, कपूर का प्रयोग विशेष महत्व रखता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि कपूर केवल धार्मिक दृष्टिकोण से ही नहीं, बल्कि वैज्ञानिक दृष्टि से भी बेहुत लाभकारी है?
धार्मिक महत्व
कपूर को शुद्धता और सकारात्मक ऊर्जा का प्रतीक माना जाता है. जब पूजा के दौरान कपूर जलाकर आरती की जाती है, तो उसका धुआं नकारात्मक ऊर्जा को दूर करता है. मान्यता है कि कपूर जलाने से देवी-देवता प्रसन्न होते हैं और घर में सुख-समृद्धि का वास होता है.
वैज्ञानिक दृष्टिकोण
एंटीसेप्टिक गुण – कपूर में प्राकृतिक रूप से एंटीबैक्टीरियल और एंटीसेप्टिक तत्व पाए जाते हैं, जब इसे जलाया जाता है तो वातावरण में मौजूद बैक्टीरिया और कीटाणु नष्ट हो जाते हैं.
फ्रेशनर का काम – कपूर की खुशबू हवा को शुद्ध और ताजगी भरी बना देती है, इससे मन भी शांत और प्रसन्न रहता है.
स्ट्रेस कम करता है – कपूर की सुगंध दिमाग को रिलैक्स करती है, जिससे तनाव और चिंता कम होती है.
घर में कपूर जलाने के फायदे
नकारात्मक ऊर्जा और नजर दोष से मुक्ति मिलती है, मानसिक शांति और पॉजिटिव वाइब्स का अहसास होता है, घर में सुख-शांति और समृद्धि का वातावरण बनता है, स्वास्थ्य संबंधी परेशानियों और संक्रमण के खतरे कम होते हैं.
कब और कैसे करें प्रयोग?
रोजाना सुबह और शाम कपूर जलाकर घर में आरती करें, कपूर में थोड़ी लौंग डालकर जलाने से इसका प्रभाव और भी बढ़ जाता है, पूजा स्थल या घर के किसी साफ स्थान पर कपूर अवश्य जलाएं.
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