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Choti Diwali 2025: दीपक जलाने का सही तरीका जान लें, वरना पूजा हो सकती है अधूरी!

धनतेरस के अगले दिन छोटी दिवाली मनाई जाती है. आज देशभर में छोटी दिवाली मनाई जा रही है. इस दिन भगवान हनुमान और मां काली की पूजा का विशेष महत्व होता है. छोटी दिवाली, जिसे नरक चतुर्दशी के नाम से भी जाना जाता है, दीपोत्सव का दूसरा दिन होता. इस दिन घर-आंगन में दीप जलाकर अंधकार पर प्रकाश की विजय का उत्सव मनाया जाता है. मान्यता है कि छोटी दिवाली की शाम यदि सही तरीके से दीपक जलाए जाएं, तो मां लक्ष्मी और भगवान यमराज दोनों की कृपा प्राप्त होती है. लेकिन कई बार लोग दीपक जलाने में छोटी-सी गलती कर बैठते हैं, जिससे पूजा का फल अधूरा रह जाता है.

कितने दीपक जलाने चाहिए?
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, छोटी दिवाली की शाम 14 दीपक जलाना शुभ माना गया है, ये 14 दीपक नरक चतुर्दशी के 14 पापों को दूर करते हैं और घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार करते हैं.

कहां-कहां रखें दीपक?
मुख्य द्वार पर: मां लक्ष्मी का स्वागत करने के लिए दरवाजे के दोनों ओर दो दीपक अवश्य जलाएं.
रसोई घर में: अन्न देवता की कृपा के लिए एक दीपक रसोई में जलाएं.
तिजोरी या धन स्थान पर: लक्ष्मी कृपा के लिए एक दीपक तिजोरी के पास रखें.
पूजा स्थल पर: भगवान विष्णु और लक्ष्मीजी के सामने कम से कम दो दीपक जलाएं.
छत या आंगन में: घर के चारों कोनों में दीपक जलाना शुभ होता है, इससे नकारात्मक ऊर्जा दूर रहती है.

दीपक जलाने का सही तरीका
दीपक शुद्ध देसी घी या सरसों के तेल से जलाना सबसे शुभ माना गया है, दीपक जलाते समय ध्यान रखें कि बाती उत्तर या पूर्व दिशा की ओर हो, दीपक जलाने के बाद “दीपज्योति परब्रह्म” मंत्र का उच्चारण करने से पूजा का प्रभाव बढ़ता है.

इन गलतियों से बचें
बुझा हुआ दीपक दोबारा न जलाएं, यह अशुभ माना जाता है, गंदे हाथों से दीपक न छुएं, दीपक हवा के रुख में न रखें, इससे वह जल्दी बुझ सकता है.

धार्मिक मान्यता
शास्त्रों में कहा गया है कि छोटी दिवाली की रात दीपक जलाने से पितृ दोष और नरक भय दोनों दूर हो जाते हैं, इस दिन किए गए दीपदान से जीवन में अंधकार कभी नहीं रहता और घर में धन-धान्य की वृद्धि होती है.

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