मौसम बदलता है, बीमारी भी बदलती है!
Health Tips AIIMS Doctor Advice: हर मौसम का अपना एक स्वास्थ्य प्रभाव होता है . गर्मी, सर्दी, बरसात या बसंत – हर मौसम में कुछ खास बीमारियां ज्यादा सक्रिय हो जाती हैं . ऐसे में समय रहते सतर्कता और बचाव बेहद जरूरी है .
हमने बात की AIIMS दिल्ली के डॉ. राजेश मिश्रा (जनरल फिजिशियन) और फोर्टिस हॉस्पिटल, गुरुग्राम की डॉ. निधि भटनागर (Internal Medicine Expert)से . जानिए किस मौसम में किन बीमारियों का खतरा अधिक होता है और उनसे कैसे बचा जा सकता है ?
Extra Marital Affairs कैसे पहचानें शुरुआती संकेत?
Live-in relationship में क्या रखें सावधानियां?
Health Tips गर्मी का मौसम (मार्च – जून)
आम बीमारियाँ:
- हीट स्ट्रोक
- डिहाइड्रेशन (निर्जलीकरण)
- फूड प्वाइजनिंग
- त्वचा रोग जैसे घमौरियां
- डायरिया और पेट के संक्रमण
बचाव के उपाय (डॉ. राजेश मिश्रा, AIIMS): Health Tips
- खूब पानी पिएं, नींबू पानी, नारियल पानी लें
- हल्का, घर का बना खाना खाएं
- बाहर के कटे फल, सड़क किनारे जूस से बचें
- दोपहर के समय सीधे धूप में बाहर जाने से बचें
- सूती ढीले कपड़े पहनें
मानसून का मौसम (जुलाई – सितंबर)

आम बीमारियाँ:
- डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया (मच्छरों से फैलने वाली बीमारियाँ)
- टाइफाइड
- वायरल फीवर
- फंगल इंफेक्शन (पैरों और त्वचा में)
- जुकाम, खांसी, सर्दी
बचाव के उपाय (डॉ. निधि भटनागर, फोर्टिस हॉस्पिटल):
- पानी जमा न होने दें – मच्छर पैदा नहीं होंगे
- पूरी बांह के कपड़े पहनें
- बासी खाना, कटे फल न खाएं
- फर्श और कपड़े सुखाते वक्त नमी न रहने दें
- समय-समय पर हाथ धोते रहें
सर्दी का मौसम (नवंबर – जनवरी)
आम बीमारियाँ:
- सर्दी-जुकाम, फ्लू
- अस्थमा और सांस की तकलीफ
- अर्थराइटिस (जोड़ों का दर्द बढ़ना)
- हाई ब्लड प्रेशर
- हाइपोथर्मिया (बुजुर्गों में ठंड लगना)
बचाव के उपाय (डॉ. राजेश मिश्रा):
- गर्म कपड़े पहनें, विशेषकर बच्चे और बुजुर्ग
- इम्युनिटी बढ़ाने वाले आहार लें (तुलसी, हल्दी, अदरक)
- बंद कमरे में हीटर चलाते समय थोड़ी वेंटिलेशन रखें
- गुनगुना पानी पिएं, धूप में बैठें
बसंत और पतझड़ (फरवरी/अक्टूबर): एलर्जी सीजन
आम समस्याएं:
- एलर्जिक रिनाइटिस
- आंखों में खुजली, नाक बहना
- सांस की एलर्जी
- त्वचा की एलर्जी
बचाव के उपाय (डॉ. निधि भटनागर):
- धूल, परागकण (pollens) से बचें
- मास्क पहनें, विशेषकर सुबह और शाम
- अगर पहले से एलर्जी है तो डॉक्टर से दवाएं पहले ही शुरू करें
- बेडशीट, पर्दे नियमित धोएं
“हर मौसम की अपनी बीमारी है, लेकिन सही जानकारी और सावधानी से हम खुद को सुरक्षित रख सकते हैं . मौसम बदलते ही शरीर के संकेतों को नजरअंदाज न करें .” – डॉ. राजेश मिश्रा, AIIMS
“बच्चे, बुजुर्ग और पहले से बीमार लोग मौसम के बदलाव में सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं . इसलिए प्रिवेंटिव चेकअप और वैक्सीनेशन ज़रूरी हैं .” – डॉ. निधि भटनागर, फोर्टिस
Extra Marital Affairs कैसे पहचानें शुरुआती संकेत?
Live-in relationship में क्या रखें सावधानियां?
हर मौसम में सतर्क रहें, खानपान और साफ-सफाई पर विशेष ध्यान दें . मौसम बदलते ही हेल्थ रूटीन में हल्का बदलाव लाएं और यदि किसी भी तरह के लक्षण दिखें तो देर न करें – डॉक्टर से सलाह जरूर लें .
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